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आँखों को सुकून देती तस्वीरे,जब काले लिबास में कांवड़ लेकर निकली महिलाये

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नेशनल ब्यूरो,नई दिल्ली

पटना Live डेस्क। सावन का महिला  कांधे पर कांवड़ और हर हर महादेव का उदघोष और भगवा वस्त्र धारण कर भक्तो का टोला पूरे देश मे सड़को पर दिखता है जो देवो के देव महादेव का जलाभिषेक ख़ातिर जल लेकर निकला है। सावन का महीना चल रहा है और सावन के महीने में सड़कों पर कांवडियों का हुज्म देखने को मिल रहा है। सावन भगवाल शिव का महीना माना जाता है और पूरे महीने विधि-विधान से भगवान शिव की पूजा की जाती है। ऐसी मान्यता है कि सावन का महीना भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए सबसे पवित्र होता है। अमुमन ये देखा जाता है कि सावन के महीने में कांवडियां ले जाने वाले ज्यादातर हिन्दु होते हैं लेकिन मध्यप्रदेश के इंदौर शहर के लोग उस वक्त हैरान हो गए जब उन्होंने कुछ मुस्लिम महिलाओं को कांवड़ ले जाते देखा।

इंदौर में मुस्लिम महिलाओं ने निकाला कांवड़ 


वैसे तो भारत में हर तरह के धर्म को बराबर का दर्जा प्राप्त है, लेकिन जब बात सचमुच ऐसा करने और दिखाने की आती है तो ज्यादातर धर्मों के लोग पिछे हट जाते हैं। भारत को सर्वधर्म संम्भाव वाला देश कहा जाता है। हिन्दु अपने त्योहार को लेकर उत्साहित रहते हैं और मुस्लिम अपने। अक्सर ऐसा कम देखा जाता है कि ये दोनों धर्म कभी दुसरे धर्म के किसी त्योहार को लेकर उत्साहित हो या उसमें शामिल हो। सावन के महीने में लोग गंगा जल लेने के लिए कई किलो मीटर पैदल चलते हैं और गंगा जल लाकर शिव का जलाभिषेक करते हैं। लेकिन इस बार मध्य प्रदेश के इंदौर शहर में कावड़ यात्रा के दौरान एक अद्भुत नजारा देखने को मिला। यहां कुछ मुस्लिम महिलाएं भगवान शिव का जलाभिषेक करने कांवड़ लेकर निकली, जो वाकई में देश की सांम्प्रदायिक एकता की अनूठी है।
एकता और भाईचारे कि पेश की मिसाल 

कांवड़ यात्रा में इस तरह मुस्लिम महिलाओं का शामिल होना देश में धार्मिक एकता और भाईचारे की मिसाल है। एक ऐसे देश में जहां सांप्रदायिक मुद्दों को लेकर लोग असहज महसूस करते हो, वहां इस तरह से मुस्लिम महिलाओं द्वारा कांवड़ यात्रा निकालना साबित करता है कि भगवान में श्रद्धा धर्म, जाति और किसी भी संप्रदाय से बहुत ऊपर होती है।

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