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BiG News – ममता बनर्जी की सीबीआई जाँच की मांग से लालू यादव पर आफत – रेल मंत्री रहते लालू यादव के वक्त 276 लोग बिना परीक्षा-इंटरव्यू रेलवे में हुए थे भर्ती, सीबीआई जांच शुरू

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#लालू के रेल मंत्री रहते 276 लोग बिना परीक्षा-इंटरव्यू रेलवे में भर्ती हुए, सीबीआई जांच शुरू

# लालू यादव के रेल मंत्रित्व काल यानी 2004-2009 के दौरान हुई थीं नियुक्तियां, 111 लोग सिर्फ बिहार के थे

#फिर ममता बनर्जी रेल मंत्री बनी तो इस मामले पर सीबीआई जांच की मांग करने लगी

#ममता बनर्जी ने बिहार के लोगो की नियुक्ति को रेलवे भर्ती घोटाले का नाम देकर सीबीआई जांच को लिखा

#तब सीबीआई के प्रवक्ता हर्ष बल ने कहा था कि सीबीआई को रेल मन्त्रालय की ओर से एक पत्र मिला है जिसमे भर्ती घोटाले की जांच को कहा गया है। 

# अब  सीबीआई द्वारा उत्तर-पश्चिम रेलवे जोन से कर्मचारियों का ब्योरा मांगा गया

पटना Live डेस्क। सियासत भी अजीब फ़ितूर है। कल तक जो विरोध में होते है अगले ही पल उसके साथ जन्मो का सम्बद्ध जैसा रिश्ता कायम कर लेते है। लेकिन वक्त के क्रूर हाथो द्वारा अक्सर इस सियासी रिश्ते का फलाफल मिल जाता है। ऐसा ही कुछ हुआ है वर्त्तमान में पश्चिम बंगाल की सीएम और चारा घोटाले में रांची जेल के मार्फत इलाज के लिए रिम्‍स में भर्ती लालू यादव जो वर्त्तमान साथ साथ है के साथ। ममता जब रेल मंत्री थी तब उन्होंने  पूर्ववर्ती रेल मंत्री लालू प्रसाद के कार्यकाल में रेलवे भर्ती में अनियमितताओं के आरोपों की सीबीआई से जाचं कराने की मांग की थी।  इस बाबत जब मीडिया की इन खबरों के बारे में पूछा था तो उस वक्त रेलमंत्री रही ममता ने कहा था कि रेल मंत्री के रूप में लालू के कार्यकाल में रेलवे भर्ती में हुई अनियमितताओं की शिकायतों की सीबीआई से जांच कराने का आदेश दिया है। ममता ने हालांकि साथ ही स्पष्ट किया था कि यह जांच लालू प्रसाद के खिलाफ नहीं है, बल्कि यह एक खास विभाग में भ्रष्टाचार के खिलाफ है। साथ ही उन्होंने कहा था कि बिहार में सत्तारूढ जनता दल यू के सांसदों ने आरोप लगाया था कि लोगों ने रेलवे में नौकरी पाने के एवज में अपनी जमीन लालू के करीबी रिश्तेदारों को बेची है।

                      तब, सीबीआई के प्रवक्ता हर्ष बल ने कहा था कि एक राजनीतिक दल के सांसद की शिकायत के आधार पर सीबीआई को रेल मंत्रलय की ओर से एक पत्र मिला है और इस पर गौर किया जा रहा है। इस मौके पर और ज्यादा जानकारी नहीं दी जा सकती। ममता ने कहा कि रेलवे भर्ती में अनियमितता की शिकायतें उत्तर पूर्वी और दक्षिण पूर्वी रेलवे और उड़ीसा जैसे राज्यों से भी आयी थी । साथ ही अनेक संसद सदस्यों ने भी इस तरह की अनियमितताओं की शिकायत की थी। उस लैटर के बाद सीबीआई जाँच शुरू हुई थी।                                                    उक्त आदेश से अब लालू यादव  नई परेशानी में फंस सकते हैं। लालू प्रसाद यादव के 2004 से 2009 के बीच रेल मंत्री रहने के दौरान राजस्थान में 276 लोग बिना परीक्षा और इंटरव्यू के रेलवे में भर्ती हुए थे। इनमें से 111 लोग बिहार के थे। अब सीबीआई इन भर्तियों की जांच कर रही है। उत्तर-पश्चिम रेलवे जोन से कर्मचारियों का ब्योरा मांगा गया है। कर्मचारियों की फाइलें खंगालने और पूछताछ के बाद लालू की भूमिका भी जांची जा सकती है।

भर्ती कर्मचारियों की मौजूदा पोस्टिंग की सूची तलब

दरअसल, रेलवे महाप्रबंधक व्यवस्था बनाए रखने के लिए जरूरत के अनुसार सब्सटिट्यूट के तौर पर नियुक्तियां कर सकते हैं। इसके लिए उम्मीदवार का लिखित आवेदन, फोटो और दसवीं की मार्कशीट ही मांगी जाती है। 120 दिन नियमित काम करने के बाद इन्हें अस्थायी कर्मचारी का दर्जा मिल जाता है। फिर स्क्रीनिंग के बाद बिना परीक्षा या इंटरव्यू के स्थायी कर्मचारी बना दिया जाता है। लालू के कार्यकाल में हुई ऐसी 276 भर्तियों के खिलाफ एक शिकायत के बाद सीबीआई ने जांच शुरू की थी। इन्हें जोधपुर, जयपुर, बीकानेर व अजमेर मंडल में नियुक्ति दी गई थी। उत्तर-पश्चिम रेलवे जोन की कार्मिक अधिकारी डॉ. हिना अरोड़ा ने चारों मंडल के मंडल रेल प्रबंधक से सीबीआई की जांच के संदर्भ में कर्मचारियों के मौजूदा पोस्टिंग की सूची मांगी है।

दो साल में बिहार से लगे 95 लोग 

सीबीआई ने एक शिकायत के आधार पर लालू के दौर में दी गई इन नियुक्तियों से जुड़ी जानकारी जुटानी शुरू कर दी है। नियुक्तियों में शामिल लोगों के घर के पते जुटाए तो पता चला कि 111 लोग तो बिहार से लाकर राजस्थान में नियुक्त किए गए थे। उत्तर प्रदेश के 16, दिल्ली के 11, हरियाणा के 9 और अन्य राज्यों के 13 लोगों को इस कोटे से नौकरी मिली। इनके अलावा 116 लोग राजस्थान के थे। वर्ष 2007 व 2008 में कुल 130 लोगों की नियुक्ति हुई थी, इनमें से अकेले 95 लोग बिहार के थे।

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