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BiG News- #Lockdown में सुशासन वाले बिहार में गरीब एवं असंगठित कामगार और दिव्यांग दाने दाने को मोहताज बोले – पूर्व युवा अध्यक्ष ललन कुमार

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पटना Live डेस्क। पूरी दुनिया कोरोना के प्रकोप से अछूता नही राह गया है। वही भारत में भी हालत दब से बदतरीन की ओर अग्रसर है। जारी लॉकडाउन के कारण राजधानी में सडको, फुटपाथों , झुग्गी झोपड़ियों और रैनबसेरों में रहने वाले समेत ट्राइसिकल पर जिंदगी काटने को मजबूर हैं उनके सामने भुखमरी जैसे हालात पैदा हो गए है। शहर के विभिन्न क्षेत्रों के फुटपाथों पर आसरा लिए लोगों की कहानी दिल को दहला देने वाली है। कोरोना के डर और पेट की आग की समस्याओं से जूझते गरीब लोग जिंदगी के लम्हे को जैसे-तैसे काट रहे हैं। सरकारी दावें लगातार जारी है पर ज़मीनी हक़ीक़त भयावह है।
इस सच बाबस्ता होकर बिहार प्रदेश कांग्रेस पार्टी के पूर्व युवा अध्यक्ष ललन कुमार ने गुरुवार को राजधानी में एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि पूरी दुनिया में कोरोना वायरस मानव समुदाय पर खतरा बन के आया है।जिससे गरीब,असहाय ,कमजोर,असंगठित कामगार तथा घरों में काम करने वाली दाई,मजदूर के अलावे दिव्यांग समुदाय काफी प्रभावित हो रहे हैं।प्रदेश की सरकार ने दिव्यांग समुदाय के लिए किसी प्रकार की कोई घोषणाएं विशेष तौर पर उन्हें खानेपीने एवं दवाई की उचित व्यवस्था नहीं की है। दिव्यांग चाहे वह पैर से हो या दृष्टि से हो या बोलने एवं सुनने में हो उन्हें एवं उनके बच्चे तथा उनके परिजन को काफी शदीद परेशानियों का सामना इस #लॉकडाउन में हो रही है।भूखमरी जैसे हालात है।

कांग्रेस नेता ने आगे कहा कि दिव्यांग अन्य समुदाय एवं उनके परिजन मेरे पास समस्या लेकर आ रहे हैं उन्हें राज्य सरकार से किसी प्रकार की विशेष मदद नहीं मिल रही है। आज हम सूबे के मुखिया से हम मांग करते हैं कि दिव्यांगों को चिन्हित कर सरकार द्वारा घर-घर उन्हें राहत पहुंचाया जाए और उनके खाते में अविलंब ₹5000 के साथ दवाइयां एवं अन्य जरूरी सामग्रियों को पहुंचा कर दिव्यांग समुदाय को सुरक्षित रखा जाए।

बिहार की सरकार ने कई घोषणा की है इन घोषणाओं में दिव्यांगों को राशन का कोई प्रावधान नहीं की गई है।दिव्यांग को राशन एवं दवाई नहीं मिलती है तो इनका जीना मुश्किल हो जाएगा।

                        कांग्रेस पार्टी मांग करती है सबसे पहले कोरोना वायरस के कारण हुए लॉक डाउन मेंबिहार के दिव्यांगों को विशेष प्रावधानों के तहत अभिलंब मदद पहुंचाई जाए नहीं तो सरकार की घोषणा सिर्फ फाइलों में दबकर उसकी शोभा बढ़ाते रहेगी।

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