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शरद यादव के खिलाफ एक्शन में जेडीयू,19 अगस्त को राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में पार्टी दिखा सकती है बाहर का रास्ता

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पटना Live डेस्क. दिल्ली में बुधवार को जेडीयू से नाराज चल रहे शरद यादव ने साझा विरासत सम्मेलन कर पार्टी नेतृत्व को खुली चुनौती दी है. शरद यादव के इस सम्मेलन में विपक्षी नेताओं के जुटान को जेडीयू शीर्ष नेतृत्व ने गंभीरता से लिया है. इतने दिनों से शरद यादव को कई बार संभलने का मौका देकर जेडीयू ने यह जताने की कोशिश की थी कि शरद यादव समय के साथ बदल जाएंगे और अपनी बात पार्टी फोरम में उठाएंगे, लेकिन अब ऐसा लगता नहीं दिख रहा है. चाहे बिहार दौरे पर निकले शरद की जनसंवाद यात्रा हो या फिर दिल्ली में आयोजित यह सम्मेलन. शरद की कार्य प्रणाली ने दोनों मौकों पर पार्टी को असहज ही किया है. शरद के बागी रवैये को देखते हुए जेडीयू भी अब उनके खिलाफ कड़े एक्शन के मूड में है. पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव के सी त्यागी ने साफ कहा है कि पार्टी उनके खिलाफ जल्दी ही बड़ा फैसला ले सकती है. जेडीयू राष्ट्रीय कार्यकारिणी की महत्वपूर्ण बैठक 19 अगस्त को होनी है और इसमें शरद यादव को भी आमंत्रित किया गया है. पार्टी की इस बैठक में शरद यादव के मसले पर विस्तार से चर्चा होनी है और यह कयास लगाए जा रहे हैं कि जेडीयू इसी बैठक में उनके खिलाफ कोई बड़ा निर्णय ले ले.

हालांकि पार्टी ने शरद यादव को राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में शामिल होने का निमंत्रण दिया है लेकिन जो खबरे आ रही हैं उसके मुताबिक शरद यादव 19 अगस्त को पटना में ही पार्टी की बैठक से इतर दूसरी बैठक बुला सकते हैं. कहा जा रहा है कि इस बैठक में जेडीयू से नाराज चल रहे राज्यसभा सांसद अली अनवर सहित दूसरे नाराज नेता शामिल होंगे. अगर यह बैठक शरद खेमे द्वारा आयोजित की जाती है तो ये तय है कि जेडीयू शुक्रवार को ही उऩके और दूसरे बागी नेताओं के खिलाफ एक्शन ले लेगी. पार्टी प्रवक्ताओं के बयान भी इसी बात को साबित कर रहे हैं.

पार्टी प्रवक्ता अजय आलोक के बयान से तो यह साफ जाहिर होता है. अजय आलोक ने ट्वीट कर कहा कि शरद जी Tired हो गए हैं और अब Retired होने का वक्त आ गया है. इतनी समझ तो होनी ही चाहिए कि लोकतंत्र में विरासत जनता देती है न की परिवार.

उन्होंने कहा कि साझी विरासत एक ऐसा कार्यक्रम हैं जिसे शरद ने 30 साल पहले 1987 में कांग्रेस के खिलाफ चलाया था. आज उस विरासत के मुख्य किरदार बदल गए, वाह रे विरासत !

 

 

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