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BiG News-जदयू नेता सह मत्स्यजीवी सहयोग समिति के मंत्री अशोक सहनी का अपहरण के बाद नृशंस हत्या से आक्रोश

Lockdown वाले में बिहार में पूरी तरह Unlock अपराधियों का तांडव जारी है, जदयू के नेताओं पर लगातार साध रहे है निशाना

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पटना Live डेस्क। Lockdown वाले बिहार में पूरी तरह Unlock अपराधियों का तांडव लगातार जारी है। इसी क्रम में जदयू के कद्दावर नेता अशोक सहनी की हत्‍या कर दी गई है।आपको बता दें कि रविवार को ही उनका अपहरण कर लिया गया था। सोमवार को उनका शव मिला है। अशोक सहनी मत्स्य जीवी सहयोग समिति के मंत्री थे। रविवार को अपराधियों ने खगड़िया के जदयू सहकारिता प्रकोष्ठ के जिलाध्यक्ष और सदर प्रखंड मत्स्यजीवी सहयोग समिति के मंत्री अशोक सहनी का अपहरण कर लिया गया था। उनके साथ उनके चालक बबलू का भी अपहरण हुआ,हालांकि अपराधियों ने उनके चालक बबलु सहनी को रेलवे लाइन की ओर ले जाकर छोड दिया। इधर, सदर एसडीपीओ सुमित कुमार ने बताया कि आरोपितों में से दो को गिरफ्तार किया गया है और अन्य की गिरफ्तारी को लेकर छापेमारी की जा रही है।

अपहरण कर की गई निर्मम हत्या

जदयू के कद्दावर नेता अशोक सहनी का अपहरण खगड़िया-बखरी मार्ग के कोठिया ढाला के पास से हुआ था वे जलकर का जायजा लेकर बलुआही स्थित अपने घर लौट रहे थे बताया जा रहा है कि बाइक उनका चालक बबलू चला रहा था । उसी दौरान अपराधियों ने अपहरण की वारदात को अंजाम दिया।पुलिस दल द्वारा अपहरण के दूसरे दिन दाढ़ी मोड़ शिवाला के बगल से जाने वाले मार्ग पर रेलवे लाइन के पार एक गड्ढा से शव बरामद किया गया है। पहली नजर में शव को देखने पर लग रहा है कि अपहर्ताओं ने अशोक सहनी की पीटकर व गला दबाकर हत्या कर दी और शव को उक्त गड्ढा में फेंक दिया जेब से मृतक का मोबाइल भी बरामद किया गया है।मृतक के शरीर पर चोट के निशान भी मिले हैं।

 

 

शिकायत पर अपहरण व हत्या का केस दर्ज

इधर, मृतक के पिता केदार सहनी के लिखित शिकायत पर अपहरण और हत्या का केस दर्ज किया गया है।मामले में पुलिस ने दो लोगों को गिरफ्तार भी किया है। अन्य लोगों की गिरफ्तारी को लेकर अपराधियों के संभावित ठिकानों पर लगातार छापेमारी की जा रही है। बताया जा रहा है कि घटना आपसी और चुनावी रंजिश में घटी है।पुलिस सूत्रों की माने तो केस में मत्स्य जीवी सहयोग समिति के पूर्व मंत्री व जेल में बंद सिकंदर सहनी के बेटों के अलावा शोभनी और मथुरापुर के कई अपराधकर्मियों को आरोपित किया गया है। मृतक के पिता केदार सहनी का कहना है कि सिकंदर के खिलाफ उनका बेटा चुनाव लडऩे की हिम्मत दिखाया और उनका पुत्र अशोक जीत भी गया।चुनाव के समय से ही अपराधियों से मिलकर उनके बेटे की हत्या का प्रयास किया जा रहा था।

जदयू नेता सह मत्स्यजीवी सहयोग समिति के मंत्री अशोक सहनी के अपहरण बाद निर्मम हत्या से शहर के लोगों में आक्रोश भी है और मायूसी भी। दाढ़ी मोड के समीप रेलवे लाइन पार एक गड्ढा से अशोक का शव मिलने के बाद सनसनी फैल गई। अपराधियों की इस घिनौनी करतूत से लोग आक्रोशित दिखे। जब पोस्टमार्टम के लिए शव सदर अस्पताल लया गया तो वहां लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी। राजनीति दल के नेता, कार्यकर्ता से लेकर मत्स्यजीवी सहयोग समिति के सदस्य भी जुटने लगे। भीड़ से आई आवाज की पहले अपराधी को पकड़ा जाए तब पोस्टमार्टम होगा। लोग शव को अस्पताल से उठाकर एनएच 31 पर लेकर चले गए। कुछ देर बाद लोगों को समझा-बुझाकर शव को पोस्टमार्टम हेतु सदर अस्पताल लाया गया।

कई मत्स्यजीवी सहयोग समिति के सदस्य आक्रोशित होकर कह रहे थे कि जब वोट से नहीं जीत पाया तो इस तरह के चुनावी रंजिश में हत्या की। ऐसे अपराधियों का हम अपने समाज में बहिष्कार करेंगे। इधर, डीएम आलोक रंजन घोष व एसपी अमितेश कुमार के आदेश पर सदर अस्पताल में सदर एसडीओ धर्मेंद्र कुमार, सदर एसडीपीओ सुमित कुमार,कई थानों के थानाध्यक्ष व भारी संख्या में पुलिस बल बेहतर विधि व्यवस्था बनाए रखने को लेकर सक्रिय दिखे।

दरअसल अशोक सहनी हंसमुख स्वभाव के थे और अपने संगठन के अलावा भी कई क्षेत्रों में सर्वप्रिय थे। उनके पारिवारिक लोगों की माने तो पहले से आाशंका तो थी ही कि चुनावी रंजिश में ऐसी घटना को अंजाम दिया जा सकता है। मगर अशोक को यह विश्वास नहीं था कि दिनदहाड़े इस तरह की घटना को अंजाम देगा। इसी विश्वास में वे बाइक से अपने चालक के साथ जलकर देखने चल पड़े और उसका दुष्परिणाम सामने आया कि अपराधियों को मौका मिल गया और उनकी निर्मम हत्या कर दी गई।

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