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Super Exclusive(वीडियो)आखिर पकड़ा गया सूबे के नंबर वन शराब माफ़िया, इओयू और छपरा पुलिस ने फील्डिंग कर धर दबोचा

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धर्मेंद्र कुमार रस्तोगी, ब्यूरो कॉर्डिनेट, सारण

पटना Live डेस्क। बिहार में नीतीश सरकार की शराबबन्दी को धता बताकर शराब कब अवैध सप्लाई के सबसे बड़े खिलाड़ी और किंगपिन को EOU ने सजे गृह जिले छपरा से स्थानीय पुलिस के सहयोग से धर दबोचा है। सूबे के सबसे बड़े शराब सिंडिकेट का यह मुखिया बेहद शातिर और चालक है। शराब तस्करी कर लाखो करोड़ो कब वारे न्यारे के इस शख्स ने महज कुछ महिनो में ही अकूत सम्पति खडा कर लिया है।इसका सुबूत है राजधानी के कंकड़बाग स्थित इसके घर से पुलिस ने कार्रवाई के दौरान पकड़ी गई नोट गिनने की मशीन है।उल्लेखनीय है कि कंकड़बाग स्थित उसके घर से 36 लाख रुपये नगद के अलावा हीरे और सोने के जेवरात बरामद किए गए है। इसकी अकूत कमाई का लेखा जोखा पटना में ही नही बल्कि छपरा और हाजीपुर में भी जुटाया जा रहा हैं।

गिरफ्तार अंतरजिला शराब माफिया मूल रूप से सिवान जिले के भगवानपुर हाट थाना क्षेत्र अंतर्गत पिपरहिया गांव निवासी वशिष्ठ सिंह के पुत्र अरुण सिंह उर्फ अनिरुद्ध सिंह को सारण पुलिस ने उस वक्त गिरफ्तार किया जब यह सिवान व सारण जिले के सीमावर्ती क्षेत्र बनसोही गाँव के समीप से शराब डिलेवरी का पैसा वसूल करने जा रहा था। एसपी पुलिस अधीक्षक हरकिशोर राय ने प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि गुप्त सूचना के आधार पर मशरख थाना क्षेत्र से माफिया की गिरफ्तारी हुई है।पुलिस अधीक्षक हरकिशोर राय ने प्रेस वार्ता के दौरान बताया कि गुप्त सूचना के आधार पर मशरख थाना क्षेत्र से माफिया की गिरफ्तारी हुई है।एसपीने बताया कि गिरफ्तार व्यक्ति के विरुद्ध बिहार के कई थानों में दर्जनों मामले दर्ज हैं।सारण पुलिस के अनुसार गिरफ्तार माफिया सारण, सिवान,गोपालगंज, मुजफ्फरपुर सहित कई अन्य जिलों में शराब की सप्लाई कराने का कार्य करता था। यूपी समेत हरियाणा राज्य से शराब को ट्रक से बड़ी संख्या में मंगाया जाता था। एसपी ने बताया कि इस अभियान में शामिल पुलिस कर्मियों ने तत्परता दिखाते हुए सरगना को गिरफ्तार किया है।गिरफ्तार शराब माफिया के पास से कई कीमती समान को भी पुलिस ने जब्त किया है जिसे जांच किया जा रहा है। सूत्रों के अनुसार बताया जा रहा है कि अरूण सिंह को कई सफेदपोश व बिहार पुलिस के पदाधिकारियों का संरक्षण भी प्राप्त था, जिस वजह से अभी तक गिरफ्तार नही पाया था।शराब के अवैध धंधे से काली कमाई के रूप में करोड़ो रूपये की अकूत सम्पति का पता चला है हालांकि इस मामले में पुलिस चुप्पी साध ली है। इसको अकूत सम्पति और अवैध शराब से हुई कमाई का अंदाज़ा इस बात से लगाया जा सकता है कि इसके घर से पुलिस ने नोट गिनने की मशीन और 36 लाख कैश EOU ने बरामद किया है। यह बरामदगी पटना के कंकड़बाग स्थित उसके घर से हुई ही साथ ही हीरे और सोने के बेशकीमती जेवरात भी बरामद किए गए है।
गिरफ्तार शराब माफिया की निशानदेही पर राजधानी पटना समेत छपरा और हाजीपुर में पुलिस की छापेमारी जारी हैं। शराबबंदी के बाद अरुण सिंह के खिलाफ डेढ़ दर्जन से ज्यादा मामले पटना सहित चार जिलों में दर्ज किए गए थे जिनमें से तीन मामलों की जांच ईओयू (आर्थिक अपराध ईकाई ) कर रही है। वह पहले भी कई बार पुलिस के राडार पर था। लेकिन हर बार अपने राजनैतिक रसूख और पैसे के ताकत पर बच निकलता रहा था। टॉप टेन की सूची में पहले नंबर पर अरुण सिंह उर्फ अनिरुद्ध सिंह ही था।इसका नेटवर्क बिहार के अलावा हरियाणा और गुजरात तक फैला है। इसकी गिरफ्तारी से इसके नेटवर्क के अन्य जगह पर जारी अवैध शराब सप्लाई के कारोबार का खुलासा होने की उम्मीद है।

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